सामूहिक विवाह योजना में पारदर्शिता के लिए एसओपी जारी, प्रदेश में 1 लाख जोड़ों के होंगे विवाह



  • सीएम योगी की मंशा के अनुरूप एसओपी में सामूहिक विवाह आयोजन के लिए नए नियमों और प्रक्रिया को किया गया निर्धारित
  • 100 से अधिक जोड़ों के सामूहिक विवाह पर जिलाधिकारी की उपस्थिति में हो सकेंगे आयोजन
  • 10% चयनित जोड़ों की रैंडम होगी जांच, वर 21 वर्ष एवं वधू 18 वर्ष से अधिक आयु के होने पर ही हो सकेंगे आवेदन
  • पोर्टल जनरेटेड सत्यापन प्रारूप पर जांच रिपोर्ट होगी मान्य, पहले आओ पहले पाओ के आधार पर स्वीकार होगा आवेदन

लखनऊ। हर वर्ग की जरूरतमंद बेटियों के विवाह के लिए शुरू की गई मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की महत्वाकांक्षी सामूहिक विवाह योजना को और अधिक पारदर्शी तरीके से क्रियान्वित किए जाने के लिए समाज कल्याण विभाग ने नियम और प्रक्रियाओं को और अधिक परिभाषित करते हुए एसओपी तैयार की है। इसके अंतर्गत जनपदों में यथासंभव एक स्थान पर 100 से कम जोड़ों के विवाह कराए जाने एवं 100 से अधिक जोड़ों के विवाह होने की स्थिति में जिलाधिकारी की उपस्थिति में आयोजन कराए जाने के निर्देश जारी किए गए हैं। आयोजन के समय पात्र जोड़ों की पुष्टि के लिए अलग से पंजीकरण काउंटर के साथ मंडल के उपनिदेशक एवं निकट जनपद के जिला समाज कल्याण अधिकारी भी मौके पर उपस्थित होकर समस्त व्यवस्थाओं का जायजा लेंगे और विभाग को रिपोर्ट प्रस्तुत करेंगे। विभाग ने निर्धारित बजट के अनुरूप इस वित्तीय वर्ष में 1,06,911 जोड़ों के विवाह का लक्ष्य तय किया है।

10% चयनित जोड़ों का होगा रैंडम सत्यापन : सामूहिक विवाह के लिए चयनित जोड़ों में से 10 प्रतिशत जोड़ों के रैंडम सत्यापन जिलाधिकारी के निर्देश पर राजस्व या अन्य विभाग के अधिकारियों द्वारा किए जाने के प्राविधान किए गए हैं। जांच प्रक्रिया को पुख्ता किए जाने के लिए जनपद स्तरीय समिति को दायित्व दिया गया है, जिसमें पोर्टल से जेनरेट सत्यापन प्रारूप पर जांच अधिकारी द्वारा आख्या प्रस्तुत की जाएगी। जांच के दौरान मौके पर उपस्थित आस पड़ोस के व्यक्तियों से पूर्व में विवाह न होने की पुष्टि की जाएगी, जिससे किसी भी दशा में अपात्र योजना का लाभ प्राप्त न कर सकें।

डिजिटल सिग्नेचर से ही सत्यापित होंगे आवेदन : जांच प्रक्रिया को मजबूत करने के साथ ही अब संबंधित खंड विकास अधिकारी, अधिशाषी अधिकारी एवं जिला समाज कल्याण अधिकारी स्तर से डिजिटल सिग्नेचर से स्वीकृत आवेदन ही सामूहिक विवाह में शामिल हो सकेंगे। आवेदन के दौरान आधार डेमोग्राफिक प्रमाणीकरण के द्वारा वर की 21 वर्ष एवं कन्या की आयु 18 वर्ष से अधिक होने पर ही ऑनलाइन आवेदन की भी व्यवस्था पोर्टल पर की गई है।

ये दी जाएगी सहायता : सामूहिक विवाह समारोह में दांपत्य जीवन में खुशहाली एवं गृहस्थी की स्थापना के लिए कन्या के खाते में 35,000 रुपए सहायता राशि अंतरित की जाती है। वहीं विवाह संस्कार के लिए आवश्यक सामग्री जैसे कपड़े, बिछिया, पायल, बर्तन आदि पर 10 हजार रुपए तथा विधवा, परित्यक्ता/ तलाकशुदा के मामले में 5,000 रुपए तक की वैवाहिक सामग्री विवाह के समय ही प्रदान की जाती है। विभाग द्वारा विवाह की समस्त व्यवस्थाएं मानक के अनुरूप किए जाने हेतु 6,000 रुपए प्रति जोड़ा व्यय निर्धारित है।

ऐसे कर सकते हैं आवेदन : योजना के अंतर्गत ऑनलाइन वेबसाइट https://cmsvy.upsdc.gov.in पर आवेदन कर सकते हैं। योजना के अंतर्गत लाभ पाने के लिए लाभार्थी आधार डेमोग्राफिक प्रमाणीकरण कर आवेदन कर सकते हैं। आवेदक अपना आवेदन पत्र जन सुविधा केंद्र (कॉमन सर्विस सेंटर), जिला समाज कल्याण अधिकारी कार्यालय, साइबर कैफे, निजी इंटरनेट केंद्र अथवा विभाग वेबसाइट से भरा सकते हैं। आवेदक द्वारा आवेदन विवाह की निर्धारित तिथि के न्यूनतम एक सप्ताह पहले ही करना होगा। आवेदन पहले आओ, पहले पाओ के आधार पर स्वीकार होगा।