प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा कि कोविड टीकाकरण के लिए तैयार किए गए कोविन प्लेटफार्म को ओपन सोर्स बनाया जा रहा है, जिससे दुनिया भर को इसका लाभ मिल सके। मोदी ने सोमवार को कोविन वैश्विक सम्मेलन को वीडियो कांफ्रेन्स के माध्यम से संबोधित करते हुए कहा कि भारत ने पूरे विश्व को हमेशा एक परिवार की तरह माना है। उन्होंने कहा कि इसे ध्यान में रखते हुए अब सरकार ने निर्णय लिया है कि कोविड टीकाकरण के प्लेटफार्म को ओपन सोर्स बनाया जाना चाहिए जिससे दुनिया का कोई भी देश इससे लाभ ले सके।
कॉन्क्लेव में भारत की ओर से महामारी कोविड-19 से बचाव के लिए इस्तेमाल किए जा रहे डिजिटल प्लेटफार्म कोविन को दूसरे देशों के लिए आधिकारिक तौर पर दिए जाने की पेशकश की गई। बता दें कि कनाडा, मेक्सिको, नाइजीरिया, पनामा और युगांडा समेत करीब 50 देशों ने अपने वैक्सीनेशन अभियान के लिए डिजिटल प्लेटफॉर्म कोविन को लेकर रुचि दिखाई है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि यह अच्छी बात है कि सोफ्टवेयर के मामले में किसी तरह की सीमा नहीं है इसलिए हमने कोविड का पता लगाने और संक्रमित व्यक्ति के संपर्कों का पता लगाने से संबंधित एप को जहां तक संभव हुआ ओपन सोर्स बना दिया। मोदी ने कहा कि इस महामारी से लडऩे के लिए टीकाकरण आशा की सबसे बड़ी किरण है। भारत ने शुरू से ही इससे निपटने के लिए पूरी तरह से डिजिटल दृष्टिकोण अपनाया और टीकाकरण सहित हमारी सभी योजनाएं इसी पर आधारित हैं।