- त्योहारों में घर लौटे प्रवासियों के साथ अपनाएं संयमित व्यवहार
- मॉस्क, दो गज की दूरी और हाथों की स्वच्छता अपनाना अब भी जरूरी
- तय समय पर लगवा लें कोविड टीके की दूसरी डोज, जारी रखें कोविड अनुरूप व्यवहार
गोरखपुर - मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. सुधाकर पांडेय का कहना है कि जिला कोविड मुक्ति की ओर बढ़ रहा है लेकिन समुदाय की सतर्कता में कमी हुई तो मुसीबत बढ़ सकती है । त्योहार के समय कोविड नियमों के प्रति सख्त होना पड़ेगा और प्रवासियों के साथ संयमित व्यवहार अपनाना होगा । उन्होंने जनपदवासियों से अपील की है कि मॉस्क, दो गज की दूरी और हाथों की स्वच्छता का नियम अपनाएं रखें । तय समय पर कोविड टीके की दूसरी डोज अवश्य लगवा लें और कोविड अनुरूप व्यवहार जारी रखें।
मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने बताया कि 24 अक्टूबर तक जिले में कोविड के चार सक्रिय मामले रह गये थे । जिले में अब तक कोविड के कुल 59430 पॉजीटिव मरीज पाए गये हैं | इस समय रोजाना 3500 कोविड नमूनों की जांच की जा रही है । प्रतिदिन 2000 आरटीपीसीआर जांच की जा रही है, जबकि 1500 एंटीजन जांच हो रही है । कोविड के मामले न के बराबर हैं लेकिन त्योहारों में संयमित व्यवहार न अपनाने पर फिर से कोविड का प्रसार होने की आशंका है ।
उन्होंने जनपदवासियों से अपील की कि अगर किसी को भी सर्दी, खांसी, जुकाम के साथ सांस फूलने की समस्या है तो आइसोलेट हो जाएं और नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र से कोविड जांच करवा लें । अगर किसी प्रवासी में यह लक्षण हैं तो आशा कार्यकर्ता को सूचना दें और उन्हें प्रेरित करें कि कोविड जांच करवा लें। बाहर का खाना खाने से पहरेज करें। घर में बने पौष्टिक भोजन का सेवन करें और अगर कोविड का टीका नहीं लगवाया है तो कोविन पोर्टल पर पंजीकरण करवा कर टीका अवश्य लगवा लें । त्योहार में लोगों से मिलें तो दूरी बनाकर मिलें और नमस्ते से ही अभिवादन करें । इस समय जिले में विशेष संचारी रोग नियंत्रण पखवाड़ा और दस्तक अभियान चल रहा है, जिसमें कोविड के लक्षणयुक्त व्यक्तियों को चिन्हित किया जा रहा है । ऐसे में अगर आशा व आंगनवाड़ी कार्यकर्ता लक्षणों के बारे में पूछें तो उन्हें सही जानकारी उपलब्ध कराएं ।
दोनों डोज के बाद भी रहें सतर्क : मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने स्पष्ट किया कि कोविड टीके की दोनों डोज लगने के बाद भी कोविड होने की आशंका समाप्त नहीं होती । ऐसे लोगों को भी कोविड हुआ है । टीका लगने के बाद होने वाले कोविड में बीमारी के कारण जटिलताएं पैदा नहीं होती हैं । इसलिए टीका लगवाने के बाद भी कोविड से बचाव का श्रेयस्कर उपाय कोविड प्रोटोकॉल का पालन ही है ।
हाथों की स्वच्छता न भूलें : मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने कहा कि त्योहारों के समय खानपान के दौरान हाथों की स्वच्छता का विशेष ध्यान रखना है । कोविड समेत अन्य संक्रामक बीमारियों से बचाव के लिए हाथों की स्वच्छता की विशेष भूमिका है । साबुन-पानी से हाथों की सही तरीके से सफाई के छह प्रमुख चरण बताये गए हैं, जिसे सुमन-के विधि से समझा जा सकता है । इसका मतलब है पहले सीधा हाथ साबुन-पानी से धुलें, यू- फिर उलटा हाथ धुलें, एम-फिर मुठ्ठी को रगड़-रगड़कर धुलें, ए- अंगूठे को धुलें, एन-नाखूनों को धुलें और के- कलाई को अच्छी तरह से धुलें । इस विधि से हाथों की सफाई की आदत बच्चों में बचपन से ही डालनी चाहिए और उसकी अहमियत भी समझानी चाहिए ।