व्याख्यान एवं स्वच्छता पखवाड़ा समापन समारोह आयोजित



लखनऊ । शिक्षा संस्कृति उत्थान न्यास(पर्यावरण शिक्षा), अवध प्रांत द्वारा वन्य जीव सप्ताह के शुभारंभ के अवसर पर ग्राम बहरौली, गोसाईगंज, लखनऊ में एक महत्वपूर्ण व्याख्यान एवं जन-जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया। यह कार्यक्रम जन शिक्षण संस्थान, लखनऊ के सहयोग से संपन्न हुआ, जिसका उद्देश्य ग्रामीण समुदाय को पर्यावरण संरक्षण, जैव विविधता और वन्य जीवों के महत्व के प्रति जागरूक करना था।

कार्यक्रम में मुख्य वक्ता के रूप में प्रसिद्ध वन्य जीव विशेषज्ञ डॉ. जितेंद्र शुक्ला ने अपने संबोधन में कहा कि “वन्य जीव केवल जंगलों की शोभा नहीं, बल्कि हमारे पारिस्थितिकी तंत्र के संतुलन के रक्षक हैं। उनके बिना पर्यावरणीय संतुलन असंभव है। वन्य जीवों की सुरक्षा और संरक्षण प्रत्येक नागरिक की जिम्मेदारी है।” उन्होंने मानव और प्रकृति के सह-अस्तित्व पर बल देते हुए ग्रामीणों से अपील की कि वे वन्य जीवों की रक्षा के लिए सजग और संवेदनशील बनें। इस दौरान डॉ. कीर्ति विक्रम सिंह, उपनिदेशक इग्नू एवं संयोजक पर्यावरण शिक्षा, ने कहा कि आज पर्यावरणीय संकट पूरे विश्व के सामने एक गंभीर चुनौती है। ऐसे में आवश्यक है कि समाज के हर वर्ग को पर्यावरण और वन्य जीव संरक्षण से जोड़ा जाए। उन्होंने ग्रामीण समुदाय को जैव विविधता संरक्षण में सक्रिय भूमिका निभाने के लिए प्रेरित किया और कहा कि छोटे-छोटे प्रयास भी बड़े बदलाव ला सकते हैं।

कार्यक्रम में अनिल कुमार श्रीवास्तव, निदेशक जन शिक्षण संस्थान, ने कहा कि पर्यावरण शिक्षा को जमीनी स्तर तक ले जाने के लिए इस प्रकार के जन-जागरूकता कार्यक्रम अत्यंत आवश्यक हैं। वहीं सह-संयोजक के.बी. पंत ने अपने विचार रखते हुए कहा कि ग्रामीण महिलाएं पर्यावरण संरक्षण की सबसे सशक्त सहभागी हो सकती हैं और उन्हें इस दिशा में प्रोत्साहित किया जाना चाहिए।

इस आयोजन का प्रमुख उद्देश्य ग्रामीण समाज में पर्यावरणीय चेतना जगाना, वन्य जीवों की महत्ता को समझाना तथा स्वच्छता और सतत विकास के प्रति सामूहिक प्रयासों को प्रोत्साहित करना था। शिक्षा संस्कृति उत्थान न्यास द्वारा आयोजित ऐसे कार्यक्रम समाज में सकारात्मक बदलाव की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम हैं।

इस अवसर पर गोसाईगंज ब्लॉक प्रमुख सहित बड़ी संख्या में ग्रामीण महिलाओं, युवाओं और स्थानीय नागरिकों ने उत्साहपूर्वक भाग लिया। कार्यक्रम के दौरान जन शिक्षण संस्थान द्वारा आयोजित स्वच्छता पखवाड़ा का समापन भी किया गया। समापन समारोह में स्वच्छता एवं पर्यावरण संरक्षण में सक्रिय योगदान देने वाली तथा विभिन्न कौशल प्रशिक्षण प्राप्त कर रही महिलाओं को प्रमाण पत्र वितरित किए गए।