गाँव तक पहुँचाई जा रहीं निःशुल्क स्वास्थ्य परीक्षण और परिवार नियोजन सेवाएँ



  • स्वास्थ्य विभाग एवं उम्मीद परियोजना के संयुक्त तत्वावधान में स्वास्थ्य मेला आयोजित 

जरवल (बहराइच । कम उम्र में विवाह के चलते किशोरियों के स्वास्थ्य पर पड़ने वाले प्रभाव और फिर जल्दी माँ बनने के दबाव के कारण माँ और बच्चे की जान के जोखिम में पड़ने के बारे में समुदाय को जागरूक करने व विभिन्न प्रकार से जानकारी देने के लिए मंगलवार को ग्राम पंचायत तप्पे सिपाह में स्वास्थ्य मेला आयोजित किया गया। कार्यक्रम का उद्देश्य परिवार नियोजन कार्यक्रम के साथ ही परामर्श एवं स्वास्थ्य सुविधा को प्रत्येक दम्पति के द्वार तक पहुँचाना है। इसी क्रम में प्राथमिक विद्यालय-तप्पे सिपाह में परिवार नियोजन कार्यक्रम के प्रति जागरूकता लाने एवं समुदाय की भागीदारी बढ़ाने के लिए जरवल में स्वास्थ्य विभाग एवं उम्मीद परियोजना के संयुक्त तत्वावधान में स्वास्थ्य मेला आयोजित किया गया।

कार्यक्रम के मुख्य अतिथि सहायक खण्ड शिक्षा अधिकारी, जरवल संतोष कुमार सिंह ने परिवार नियोजन के महत्व को बताते हुए कहा कि जब परिवार सीमित रहेगा, तभी परिवार में पूरी खुशियाँ मिलेंगी। इसके लिए लड़कियों का साक्षर होना भी उतना ही जरूरी है, जितना की लड़कों का। उन्होंने कहा कि बहराइच जनपद में पिछले चार जिलाधिकारी में तीन महिला रही हैं और तीन मुख्य विकास अधिकारी महिलाएं ही रही हैं, जो कि तभी सम्भव है जबकि बिना भेदभाव के समान अवसर प्रदान किया जाए।

सहायक खण्ड विकास अधिकारी राजेश कुमार सिंह ने किशोर-किशोरियों के पोषण के महत्व को बताते हुए कहा कि सही पोषण-देश रोशन के लिए यह आवश्यक है कि परिवार सीमित हो, तभी सभी संसाधन पूरे होंगें। उन्होंने परिवार नियोजन में युवाओं, पुरुषों एवं नवदम्पति की भागदारी के लिए  प्रोत्साहित करते हुए इनके महत्वपूर्ण भूमिका के बारे में सम्बोधित किया। उन्होंने कहा कि आज पर्यावरण में तेजी से बदलाव आ रहा है और संसाधन भी सीमित हो रहे हैं, इसका उपयोग सही एवं पूर्ण होना आवश्यक है, इसमें संतुलन बनाये रखने के लिए परिवार नियोजन जैसे कार्यक्रमों की मुख्य भूमिका है। 

राज्य निदेशक, पॉपुलेशन फाउंडेशन ऑफ़ इंडिया शिल्पा नायर ने कहा कि उत्तर प्रदेश के बहराइच जिले का आंकड़ा नेशनल फेमिली हेल्थ सर्वे (एनएफएचएस) -5 देखने पर पता चलता है कि 37.5% लडकियों की शादी 18 वर्ष से पहले ही हो जाती है, जबकि राज्य का औसत 15.8% है। कम उम्र में विवाह से कई नकारात्मक प्रभाव होते हैं, जिसके कारण जल्दी विवाह से जल्दी माँ बनने का दबाव भी होता है, जिसके कारण माँ और बच्चे दोनों के जान का खतरा होता है। 

मेले में उपस्थित प्रभात कुमार-प्रतिनिधि मोबिअस फाउंडेशन ने कहा कि परिवार नियोजन में महिलाओं के साथ पुरुषों की भी समान भूमिका है, इस समय पुरुष नसबंदी पखवाड़ा चल रहा है, इस पखवाड़े का लाभ उठाकर पुरुष नसबंदी की सेवा ले सकते हैं, जिसके लिए सरकार द्वारा 3000 रुपया प्रोत्साहन राशि भी प्रदान किया जा रहा है। 

कार्यक्रम में अतिथि के रूप में कल्लन इद्रेशी-जिला संगठन आयुक्त, भारत स्काउट और गाइड, ग्राम प्रधान उमेश प्रताप गुप्ता, सुरेश सरोज, प्रधानाचार्य, प्राथमिक विद्यालय, रीता सिंह-प्रधानाचार्या, डॉ. अशोक एवं डॉ. प्रशांत, सी.एच.सी.; एवं आई.सी.डी.एस. द्वारा विभागीय सेवाएँ दी गयीं। कार्यक्रम में स्वास्थ्य विभाग द्वारा महिलाओं और बच्चों तथा किशोर-किशोरियों का स्वास्थ्य जाँच एवं दवा वितरण किया गया। उपस्थित अतिथियों के द्वारा स्वास्थ्य मेला का उद्घाटन फीता काटकर किया गया,अतिथियों द्वारा नवदम्पति को शगुन किट का वितरण किया गया।

मेले में विभिन्न विभागों के स्टाल के साथ पॉपुलेशन फाउंडेशन ऑफ़ इण्डिया द्वारा उम्मीद परियोजना के अंतर्गत परिवार नियोजन व किशोर स्वास्थ्य के साथ खेलो और जीतो स्टाल के माध्यम से स्वास्थ्य जाँच और जानकारियाँ दी गयीं और विजेताओं को उनको गिफ्ट भी दिए गए। समुदाय का ध्यान खीचने का मुख्य आकर्षण सेल्फी बूथ ने किया,जहाँ पर उपस्थित अतिथियों, स्वास्स्थ्य कर्मी एवं किशोर-किशोरियों द्वारा अलग अलग संदेश के साथ सल्फी लिया। मेले में आशा, ए.एन.एम.,प्रधान तथा जनसमुदाय सभी की उपस्थिति रही। कार्यक्रम में परिवार नियोजन साधनों के बारें में बताया गया कि सभी स्वास्थ्य केंद्र से निःशुल्क कंडोम, माला-एन,छाया गोली, कॉपर टी एवं अंतरा साधन को अपनाया जा सकता है एवं परिवार पूरा होने पर नसबंदी की सेवा भी प्राप्त की जा सकती है। सभी साधन सुरक्षित हैं एवं इसके अपने अपने कार्य करने के तरीके है। लोगों ने आगे आकर कार्यक्रम में सहभागिता की। कार्यक्रम में पॉपुलेशन फाउंडेशन से अभिषेक पाठक, बलबीर सिंह, अमितोष एवं सेव अ मदर से मुनीश, बिंदु, संतराम और अवधेश की उपस्थिति रही।