नई दिल्ली - भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने विदेशी मुद्रा प्रबंधन विनियम, 2018 में संशोधन कर भारतीय बैंकों को श्रीलंका, भूटान और नेपाल के संस्थानों व व्यक्तियों को भारतीय रुपये में ऋण देने की अनुमति दी है। 6 अक्टूबर, 2025 को भारत के राजपत्र में अधिसूचित यह संशोधन तत्काल रूप से प्रभावी हो गया है।
इस फैसले से क्षेत्रीय वित्तीय एकीकरण को बढ़ावा मिलेगा। साथ ही भारतीय रुपये में व्यापार करना आसान होगा। विशेष तौर पर श्रीलंका के लिए यह कदम तरलता संकट कम करने और द्विपक्षीय व्यापार को प्रोत्साहन देने में सहायक माना जा रहा है। यह पहली बार है जब भारत ने अपने विदेशी मुद्रा प्रबंधन ढांचे के तहत पड़ोसी देशों को सीधे रुपये में ऋण की अनुमति दी है।