लखनऊ, 23 सितम्बर 2020 - पोषण माह के तहत अलग-अलग दिन भिन्न-भिन्न गतिविधियों का आयोजन कर लोगों को अच्छे स्वास्थ्य एवं पोषण के बारे में जानकारी दी जा रही है | बुधवार को सभी आंगनबाड़ी केन्द्रों पर ग्राम स्वास्थ्य, स्वच्छता एवं पोषण दिवस (वीएचएसएनडी) का आयोजन किया गया | गतिविधि के कैलेंडर के अनुसार इस दिवस पर महिलाओं को ऊपरी आहार के बारे में बताया गया ताकि वह अपने बच्चों को समय से ऊपरी आहार की शुरुआत करें क्योंकि कुपोषण के मुख्य कारणों में से एक कारण समय से ऊपरी आहार नहीं देना भी है | यह जानकारी जिला कार्यक्रम अधिकारी अखिलेन्द्र दुबे ने दी |
सरोजिनीनगर ब्लाक की डिप्टीगंज क्षेत्र की आंगनबाड़ी कार्यकर्ता गुड़िया ने बताया - वीएचएसएनडी के तहत हमारे यहाँ तीन गर्भवती और 16 बच्चों को टीका लगाया गया | इसके साथ ही पांच किशोरी बालिकाओं का वजन किया गया और लम्बाई ली गयी | 19 महिलाओं ने वीएचएसएनडी में प्रतिभाग किया | एएनएम ने गर्भवती का वजन, लम्बाई और ब्लड प्रेशर नापा | गर्भवती और धात्री महिलाओं को आयरन और कैल्शियम तथा किशोरियों को आयरन की नीली गोलियों का वितरण किया गया | उन्हें एएनएम ने यह हिदायत भी दी कि आयरन को विटामिन सी जैसे नीबू पानी, संतरा, आंवला तथा कैल्शियम को दूध के साथ लेना है |आयरन और कैल्शियम को एक साथ नहीं लेना है |
गुड़िया ने बताया – पोषण माह के गतिविधि कैलेंडर के अनुसार वीएचएसएनडी सत्र में ऊपरी आहार पर चर्चा की गयी | महिलाओं को बताया गया कि छह माह तक बच्चे को केवल स्तनपान कराना चाहिए यहां तक कि पानी भी नहीं देना चाहिए लेकिन छह माह की आयु पूरी होने के बाद बच्चे को स्तनपान के साथ-साथ ऊपरी आहार की जरूरत होती है क्योंकि उसकी शारीरिक वृद्धि तेजी से होती है | बच्चे को दाल, मसला हुआ केला, सूजी की खीर इत्यादि को दिन में कई बार देना चाहिए साथ में घी या तेल जरूर डालना चाहिए | सफाई का विशेष ध्यान रखना चाहिये | खाना बनाने व खिलाने से पहले हाथ जरूर धोने चाहिए | बच्चे को अलग बर्तन में खाना खिलाना चाहिए न कि अपने साथ | साथ ही एएनएम ने महिलाओं को कोरोना से बचाव के बारे में जानकारी देते हुए कहा कि गर्भवती और छोटे बच्चों को जब तक बहुत जरूरत न हो घर से बाहर नहीं निकलना है | आम लोग भी बाहर निकलें तो मास्क का उपोग अवश्य करें | सार्वजनिक स्थानों पर दो गज की दूरी बनाकर रखें | छींकते और खांसते समय मुड़ी हुयी कोहनी का प्रयोग करें |अगर नैपकिन का उपयोग कर रहे हैं तो उसे बंद डस्टबिन में डालना है | अपने चेहरे को नहीं छूना है | इस दौरान किशोरी बालिकाओं को हाथ धोने के बारे में जानकारी दी गयी और प्रदर्शन करके भी दिखाया गया |
बाल विकास परियोजना अधिकारी कामिनी ने बताया- आंगनवाड़ी कार्यकर्ता सभी गतिविधियों को कोविड प्रोटोकॉल का पालन करते हुए कर रही हैं और समुदाय को भी बता रहीं हैं |