लखनऊ, 20 नवम्बर 2020 - देश को टीबी से मुक्त करने के लिए राष्ट्रीय क्षय रोग उन्मूलन कार्यक्रम चलाया जा रहा है | इस कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए सघन क्षय रोगी खोज अभियान (एसीएफ) समय - समय पर चलाया जाता है | इस क्रम में दो से 11 नवम्बर तक अभियान चलाकर टीबी के 200 नए रोगी खोजे गये | यह जानकारी मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. संजय भटनागर ने दी | उन्होंने बताया- अब तक जनपद में सात चरणों में क्षय रोगी खोज अभियान चलाया जा चुका है ।
जिला क्षय रोग अधिकारी (डीटीओ) डॉ ए.के. चौधरी ने बताया- अभियान में 5.50 लाख व्यक्तियों की स्क्रीनिंग किए जाने के लक्ष्य के सापेक्ष 6.49 लाख की स्क्रीनिंग की गई, जिसमें कुल 1,416 लोगों मे क्षय रोग के सम्भावित लक्षण पाए गए जिनकी जांच के उपरांत 200 लोगों में क्षय रोग की पुष्टि हुई ।
इस बार की उपलब्धि में अधिकतम 200 मरीज खोजे गए जो अब तक के क्षय रोगी खोज अभियान के सभी चरणों में सबसे अधिक है। डॉ. चौधरी ने बताया कि स्वास्थ्य विभाग द्वारा 200 लोगों को समय से खोज कर उपचार शुरू कर देने से लगभग 3000 लोगों को संक्रमित होने से बचा लिया गया है | टीम के सदस्यों व सुपरवाइजर द्वारा उत्कृष्ट कार्य करते हुए आने वाले अगले चरण के लिए एक अच्छा लक्ष्य निर्धारित कर दिया गया है | चिन्हित क्षय रोगियों का उपचार प्रारंभ करने के साथ-साथ इन सभी की एचआईवी , डायबिटीज तथा कोविड-19 की भी जांच कराई जाएगी |
डीटीओ ने बताया- शहरी क्षेत्र में सबसे ज्यादा क्षय रोगी पुराने लखनऊ में स्थित टीबी अस्पताल, ठाकुरगंज में और ग्रामीण क्षेत्र में सबसे ज्यादा क्षय रोगी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र, माल में चिन्हित किए गए ।
मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने सक्रिय क्षय रोगी खोज की सफलता के लिए डीटीओ डॉ. चौधरी तथा एनटीईपी के सुपरवाइजर एवं फील्ड स्टाफ को उत्कृष्ट कार्य के लिए बधाई दी तथा भविष्य में और बेहतर कार्य योजना बनाकर निजी क्षेत्र में उपचार ले रहे समस्त क्षय रोगियों को नोटिफाई कराने के निर्देश दिए ।
डॉ. संजय भटनागर ने निजी चिकित्सालय ,पैथोलॉजी व औषधि विक्रेताओं को पत्र जारी कर क्षय रोग से संबंधित शत - प्रतिशत सूचना भारत सरकार के निक्षय पोर्टल पर उपलब्ध कराने के निर्देश जारी किये हैं |