लगातार दूसरे सप्ताह शेयर बाजार पर बिकवाली का दबाव



नई दिल्ली - रूस और यूक्रेन के बीच लगातार बढ़ते तनाव, अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमत में बढ़ोतरी और विदेशी निवेशकों द्वारा लगातार की जा रही बिकवाली के दबाव की वजह से घरेलू शेयर बाजार लगातार दूसरे सप्ताह भी गिरकर लाल निशान में ही बंद हुआ। हालांकि घरेलू संस्थागत निवेशकों की लगातार कोशिश के कारण बाजार संख्यात्मक तौर पर ज्यादा नहीं गिरा, लेकिन बाजार में एक दिन को छोड़कर पूरे सप्ताह निगेटिव सेंटिमेंट्स ही हावी रहे।

सोमवार को इस कारोबारी सप्ताह की शुरुआत अप्रैल 2021 के बाद के एक दिन के सबसे बड़े गिरावट के साथ हुई। हालांकि अगले ही दिन मंगलवार को शेयर बाजार ने शानदार उछाल के साथ पहले दिन हुई गिरावट को काफी हद तक रिकवर भी कर लिया, लेकिन उसके बाद के आखिरी तीनों दिन शेयर बाजार मामूली गिरावट के साथ लाल निशान में ही बंद हुआ। शुक्रवार को खत्म हुए कारोबारी सप्ताह के दौरान बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज का सेंसेक्स 319.95 अंक गिरकर 57,832.97 अंक के स्तर पर पहुंच गया। वहीं नेशनल स्टॉक एक्सचेंज का निफ्टी 98.45 अंक गिरकर 17,276.30 अंक के स्तर पर पहुंच गया। इसके पहले वाले सप्ताह में भी सेंसेक्स में 5 दिन के कारोबार के बाद 491.90 अंक की और निफ्टी में 141.5 अंक की गिरावट दर्ज की गई थी।

इस कारोबारी सप्ताह के दौरान बीएसई के लार्ज कैप इंडेक्स में 0.7 प्रतिशत की कमजोरी दर्ज की गई। इस इंडेक्स में शामिल इंटर ग्लोब एवियशन, पीरामल एंटरप्राइजेज, बैंक ऑफ बड़ौदा, नेशनल मिनिरल डेवलपमेंट कॉरपोरेशन और अंबुजा सीमेंट में जबरदस्त गिरावट दर्ज की गई। इसका असर इस पूरे इंडेक्स के ओवरऑल परफॉर्मेंस पर भी पड़ा। इसी तरह बीएसई मिडकैप इंडेक्स इस कारोबारी सप्ताह के दौरान 2 प्रतिशत की गिरावट के साथ बंद हुआ। मिडकैप इंडेक्स में शामिल वोल्टास, पेज इंडस्ट्रीज, क्रिसिल, कमिंस इंडिया और अडाणी पावर के शेयर में 3 से 5 प्रतिशत तक की मजबूती दर्ज की गई। दूसरी ओर गोदरेज इंडस्ट्रीज, आरईसी, ग्लैंड फार्मास्यूटिकल्स, बालकृष्ण इंडस्ट्रीज और राजेश एक्सपोर्ट्स जैसी कंपनियों के शेयर में 6 से 9 प्रतिशत तक की गिरावट दर्ज की गई।

शुक्रवार को समाप्त हुए कारोबारी सप्ताह में स्मॉल कैप इंडेक्स पर बिकवाली का सबसे ज्यादा दबाव पड़ा। बीएसई का स्मॉल कैप इंडेक्स इस सप्ताह 3 प्रतिशत से ज्यादा टूटकर बंद हुआ। हालांकि इस इंडेक्स में शामिल 12 स्मॉल कैप शेयर ऐसे भी रहे, जिनमें 10 से लेकर 29 प्रतिशत तक की तेजी दर्ज की गई। ऐसे शेयरों में एक्सेल इंडस्ट्रीज, श्री रायलसीमा हाई स्ट्रेंथ, एवरेस्ट इंडस्ट्रीज, टीसीपीएल पैकेजिंग और सोलर एक्टिव फार्मा साइंसेज के नाम शामिल हैं। दूसरी ओर स्मॉल कैप इंडेक्स में शामिल करीब 16 शेयर ऐसे रहे, जिनमें 15 प्रतिशत से अधिक की गिरावट दर्ज की गई। बिकवाली के दबाव में जोरदार गिरावट का सामना करने वाले शेयरों में सिंकॉम फॉर्मूलेशंस, मंगलम ऑर्गेनिक्स, मणप्पुरम फाइनेंस, मेट्रोपोलिस हेल्थकेयर और एनआरबी बेयरिंग्स के नाम शामिल हैं।

पूरे सप्ताह के कारोबार के बाद बिकवाली के दबाव की वजह से आईसीआईसीआई बैंक के मार्केट कैप में सबसे ज्यादा गिरावट दर्ज की गई। आईसीआईसीआई बैंक के बाद गिरावट के मामले में आईटीसी और एसबीआई दूसरे और तीसरे स्थान पर रहे। दूसरी ओर रिलायंस इंडस्ट्रीज, एचयूएल और टीसीएस जैसी कंपनियों के मार्केट कैप में सर्वाधिक बढ़ोतरी हुई।

इस कारोबारी सप्ताह के दौरान विदेशी निवेशकों (एफआईआई) ने अपने पैसे निकालने के लिए शेयर बाजार में 12,215.48 करोड़ रुपये की बिकवाली की। फरवरी के महीने में अभी तक विदेशी निवेशक बिकवाली करके भारतीय बाजार से 21,928.08 करोड़ रुपये की निकासी कर चुके हैं। दूसरी ओर इस सप्ताह के दौरान बाजार को संभालने की कोशिश में घरेलू संस्थागत निवेशकों (डीआईआई) ने कुल 10,592.21 करोड़ रुपये की खरीदारी की।