नई दिल्ली / चेन्नई(डेस्क) - केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री श्री अनुराग सिंह ठाकुर ने कहा कि भारत ड्रोन तकनीक का हब बनेगा और भारत को अगले साल तक कम से कम 1 लाख ड्रोन पायलटों की आवश्यकता होगी। वे आज चेन्नई में 'ड्रोन यात्रा 2.0' को झंडी दिखाकर रवाना करने के बाद उपस्थित जनसमुदाय को संबोधित कर रहे थे।
इस दौरान उन्होंने कहा, "प्रधानमंत्री मोदी ने एक बार कहा था कि 'भारत के पास एक लाख समस्याओं का एक अरब समाधान है। एक अरब से अधिक लोगों के देश के रूप में, भारत आगे रहने के लिए बड़े पैमाने पर प्रौद्योगिकी का लाभ उठा रहा है।"
इस साल मई में, पीएम मोदी ने भारत के सबसे बड़े ड्रोन महोत्सव - भारत ड्रोन महोत्सव 2022 का उद्घाटन किया था, जिसमें उन्होंने किसान ड्रोन पायलटों के साथ बातचीत की थी। ड्रोन तकनीक को बढ़ावा देना, सुशासन और जीवन यापन में आसानी से जुड़ी हमारी प्रतिबद्धता को आगे बढ़ाने का एक और माध्यम है।
उन्होंने कहा कि आज रक्षा से लेकर कृषि और स्वास्थ्य से लेकर मनोरंजन तक - विभिन्न क्षेत्रों के लिए ड्रोन तकनीक आवश्यक है। उन्होंने कहा कि भारत उत्पादन से जुड़ी योजना (पीएलआई) जैसी अन्य योजनाओं के माध्यम से देश, एक मजबूत ड्रोन निर्माण इकोसिस्टम बनाने की दिशा में भी आगे बढ़ रहा है।
अनुराग ठाकुर ने कहा कि स्वामित्व योजना (गांवों का सर्वेक्षण और मानचित्रण) के एक हिस्से के रूप में, गांवों में भूमि और घरों का सर्वेक्षण ड्रोन के माध्यम से तैयार किया जा रहा है। ग्रामीण गांवों में खेतों में कीटनाशकों और नैनो उर्वरकों के छिड़काव के लिए ड्रोन का तेजी से उपयोग किया जा रहा है, जिससे किसानों को लाभ होगा। आज रक्षा से लेकर कृषि और स्वास्थ्य से लेकर मनोरंजन तक विभिन्न क्षेत्रों के लिए ड्रोन तकनीक आवश्यक है। भारत प्रोडक्शन लिंक्ड इंसेंटिव (पीएलआई) जैसी योजनाओं के माध्यम से देश में एक मजबूत ड्रोन निर्माण पारिस्थितिकी तंत्र बनाने की दिशा में भी आगे बढ़ रहा है।
केंद्रीय मंत्री ने पहले ड्रोन कौशल तथा प्रशिक्षण सम्मलेन के उद्घाटन के अवसर पर एक ड्रोन का परिचालन किया। मंत्री ने ड्रोन पायलट प्रशिक्षण पूरा करने वाले छात्रों को प्रमाण पत्र प्रदान किए।