- लक्षण नजर आयें तो जाँच जरूर कराएं
लखनऊ - राष्ट्रीय क्षय उन्मूलन कार्यक्रम के तहत “टीबी हारेगा - देश जीतेगा’ नारे के साथ शुक्रवार को मालवीय नगर सभासद मालती चौधरी के कार्यालय पर क्षय रोग पर जागरूकता कार्यक्रम आयोजित हुआ | कार्यक्रमका आयोजन क्षय रोग अधिकारी डा. कैलाश बाबू के दिशा निर्देशन में किया गया, जिसमें बड़ी संख्या में क्षेत्रीय लोगों ने भाग लिया |
इस अवसर पर जिला क्षय रोग नियंत्रण इकाई के सीनियर ट्रीटमेंट सुपरवाइजर अभय चंद्र मित्रा ने बताया – टीबी एक पूरी तरह ठीक होने वाली बीमारी है | इसके लिए ध्यान देने की जरूरत यहहै कि दवाओं का सेवन डाक्टर की सलाह के अनुसार नियमित रूप से किया जाना चाहिए | दवा बीच में छोड़नेसेयह एमडीआर या एक्सडीआर टीबी में परिवर्तित हो जाती है, जो घातक साबित हो सकती है | घर पड़ोस में लोगों को इस बात के लिए जागरूक करें कि इसकी दवा नियंमित रूप से लेनी है | इसकेसाथ ही टीबी की जांच और इलाज स्वास्थ्य केंद्रों पर निःशुल्क उपलब्ध है |
पब्लिक प्राइवेट मिक्स समन्वयक रामजी वर्मा ने कहा – लोगों को टीबी के लक्षणों से भी अवगत कराना बहुत जरूरी है ताकि समय से जांच और इलाज मिल पाए | दो सप्ताह से ज्यादा खांसी आना, भूख न लगना , वजन कम होना, सीने में दर्द रहना व खांसी में खून का आना, बुखार रहना, रात में पसीना आना । अगर यह लक्षण किसी व्यक्ति में दिखाई देते हैं तो वह पास के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पर जाकर जांच जरूर कराएं ।
टीबी मरीज यदि खाँसता है तो वह खांसी के समय करीब 3500 क्षय रोग के जीवाणु हवा में छोड़ता है | यदि आप उन ड्रॉपलेट के संपर्क में आ जाते हैं तो आप संक्रमण की चपेट में आ सकते हैं |
बलरामपुर टीबी यूनिट के सीनियर ट्रीटमेंट सुपरवाइजर पंकज श्रीवास्तव ने बताया - क्षय रोगियों के पोषण के लिए निक्षय पोषण योजना के तहत इलाज के दौरान 500 रूपये प्रतिमाह बैंक खाते में दिए जाते हैं |
इस अवसर पर एनटीईपी के लोकेश कुमार वर्मा और बड़ी संख्या में जनता मौजूद रही| इस अवसर पर टीबी चॅम्पियन सुनीता कुमारी द्वारा लोगों के साथ अनुभव साझा किया गए कि किस तरह से वह नियमित इलाज कराकर क्षय रोग से मुक्त हुईं और अब लोगों को इसके लिए जागरूक कर रही हैं |
इससे पूर्व बृहस्पतिवार को के.के. अस्पताल में नर्सिंग कोर्स के प्रशिक्षणार्थियों के लिए क्षय रोग जागरूकता कार्यशाला का आयोजनअस्पताल सभागार में किया गया |