- पं जवाहरलाल नेहरू होम्योपैथिक मेडिकल कॉलेज में छात्र-छात्राओं ने तम्बाकू से दूर रहने की ली शपथ
- कोटपा एक्ट (सिगरेट व अन्य तंबाकू अधिनियम) 2003 की दी जानकारी
कानपुर - जनपद में शुक्रवार को पंडित जवाहरलाल नेहरू होम्योपैथिक मेडिकल कॉलेज में तंबाकू सेवन के दुष्प्रभाव और इससे होने वाली शारीरिक हानियों के बारे में छात्र-छात्राओं को जागरूक करने के लिए जागरूकता कार्यक्रम आयोजित हुआ। साथ ही तंबाकू से दूर रहने और तंबाकू का सेवन नहीं करने को लेकर शपथ ली गई। कार्यक्रम के आयोजकों ने बताया कि जिला स्वास्थ्य समिति कानपुर के तत्वधान में जिले के हर गांव/टोले में तंबाकू नियंत्रण अभियान चलाया जा रहा है।
पंडित जवाहरलाल नेहरू होम्योपैथिक मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल प्रो डॉ राजेश वर्मा ने कहा कि तम्बाकू व धूम्रपान का सेवन न तो खुद करें और न ही किसी और को करने दें। इसके दुष्प्रभावों को समुदाय के लोगों को बताएं और इस बुरी लत से बचने के लिए सभी को समझाएं। तम्बाकू नियंत्रण कार्यक्रम के नोडल अधिकारी व एसीएमओ डॉ आरपी मिश्रा ने बच्चों को तंबाकू का सेवन करने से होने वाली हानियों के बारे में बताया। प्रश्नोतरी शैली में विद्यार्थियों की जिज्ञासा शांत करते हुए उन्होंने कहा कि धूम्रपान छोड़ने से रक्तचाप व हृदय रोगों पर लगाम लगती है और रक्त संचार सुधरता है। प्रो डॉ.आरके गौतम ने कहा कि इन बातों का पालन करने से हम अपने जीवन स्तर में सुधार ला सकते हैं तथा अपना शरीर रोगमुक्त व स्वस्थ बना सकते हैं। उन्होंने बताया की प्रत्येक वर्ष 31 मई को विश्व तम्बाकू निषेध दिवस’ एक नई थीम के साथ मनाया जाता है। इस वर्ष की थीम है "हमें भोजन की आवश्यकता है, तम्बाकू की नहीं" ।
कार्यक्रम में तम्बाकू नियंत्रण कार्यक्रम की जनपदीय सलाहकार निधि बाजपेयी ने कोटपा (सिगरेट व अन्य तंबाकू अधिनियन) 2003 के बारे में विस्तृत जानकारी दी। कोटपा एक्ट 2003 के अन्तर्गत की सभी धाराओं का अनुपालन किया जाना है जो कि इस प्रकार हैं धारा 4 मुख्य रूप से सार्वजनिक स्थानों पर धूमपान पर प्रतिबन्ध एवं जुर्माना 200 से 10000 रुपये तक का प्रावधान है। साथ ही 5 साल तक की जेल भी हो सकती है। वहीं धारा 6 के अन्तर्गत - तम्बाकू विक्रेता द्वारा 18 वर्ष से कम उम्र के व्यक्तियों को तम्बाकू बेचना दण्डनीय अपराध है और विद्यालय के 100 गज के दायरे में किसी भी प्रकार का तम्बाकू उत्पाद बेचना अपराध है। धारा 7 मुख्य रूप से सिगरेट एवं तम्बाकू उत्पाद बिना चित्रमय चेतावनी के नहीं बेचा जा सकता। अत विश्व तम्बाकू निषेध दिवस के अवसर पर विशेष अभियान चला कर कोटपा अधिनियम धारा 4, 6 व 7 का अनुपालन कराया जाए।
कार्यक्रम में प्रो अर्चना श्रीवास्तव, प्रो एमआई मिश्रा सहित अन्य लोग भी उपस्थित रहे।